Tax Alert New Income Tax Rules from April 2025 Explained
Income Tax Rules: 1 अप्रैल 2025 से इनकम टैक्स (Income Tax) से जुड़े नियमों में बड़े बदलाव होने जा रहे हैं, जो हर करदाता के लिए जानना जरूरी है।
नए वित्तीय वर्ष (Financial Year) की शुरुआत के साथ ही लागू होने वाले ये सात प्रमुख बदलाव टैक्स स्लैब (Tax Slab), छूट की सीमा, और करदाताओं की जेब पर असर डाल सकते हैं।
सरकार ने इन संशोधनों के जरिए टैक्स प्रक्रिया को सरल बनाने और कुछ मामलों में राहत देने की कोशिश की है,
लेकिन कुछ नियमों से टैक्स का बोझ भी बढ़ सकता है। आइए, इन बदलावों का एक संक्षिप्त परिचय जानते हैं
ताकि आप अपनी टैक्स प्लानिंग को बेहतर तरीके से तैयार कर सकें।
इन 7 नियमों में बदलाव
धारा 87 A के तहत छूट
आयकर अधिनियम, 1961 की धारा 87A के अंतर्गत नई कर व्यवस्था में कर छूट की सीमा ₹25,000 से बढ़ाकर ₹60,000 कर दी जाएगी। यह बढ़ी हुई छूट ₹12 लाख तक की कर योग्य आय पर लागू होगी, जिसमें पूंजीगत लाभ से प्राप्त आय शामिल नहीं होगी। इस संशोधन के परिणामस्वरूप, नई व्यवस्था के तहत ₹12 लाख तक की कर योग्य आय पर कोई कर देय नहीं होगा। वेतनभोगी व्यक्तियों के लिए, ₹75,000 की मानक कटौती को जोड़ने पर यह सीमा ₹12.75 लाख तक पहुँच जाएगी।
कर स्लैब और दरें
नई कर व्यवस्था के तहत 1 अप्रैल से टैक्स स्लैब और दरों में बदलाव हो रहा है। छूट की सीमा को ₹3 लाख से बढ़ाकर ₹4 लाख कर दिया जाएगा।
इसके अलावा, ₹24 लाख से अधिक आय पर उच्चतम टैक्स दर 30% लागू होगी।
फिर भी, नई व्यवस्था में स्लैब और दरों में कोई संशोधन नहीं किया गया है। आप नई व्यवस्था के तहत सभी अद्यतन स्लैब और दरें यहाँ देख सकते हैं।
1 अप्रैल से कर्मचारियों को उनके नियोक्ताओं से प्राप्त होने वाली सुविधाएँ और लाभ भत्तों की श्रेणी में नहीं गिने जाएँगे।
साथ ही, किसी कर्मचारी या उसके परिवार के सदस्य के चिकित्सा उपचार के लिए भारत के बाहर यात्रा पर नियोक्ता द्वारा वहन किया गया व्यय भी भत्ते के रूप में नहीं माना जाएगा।
दो संपत्तियों के लिए शून्य मूल्य
1 अप्रैल से वेतनभोगी कर्मचारी और अन्य करदाता अधिकतम दो संपत्तियों के लिए शून्य मूल्य का दावा कर सकेंगे, चाहे वे संपत्तियाँ उनके स्वयं के उपयोग में हों या नहीं।
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