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नई दिल्ली, 22 मई : कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने मंगलवार को फाउंडेशन कोर्स पूरा करने के बाद ही सिविल सेवा परीक्षा में चयनित उम्मीदवारों को कैडर और सेवा आवंटित करने के सरकार के प्रस्ताव की आलोचना की और कहा कि सरकार ‘राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) की पसंद’ के अधिकारियों को नियुक्त करना चाहती है।
राहुल ने कार्मिक विभाग के एक पत्र को ट्विटर पर साझा करते हुए कहा कि इससे खुलासा होता है कि सरकार की योजना मेरिट सूची में दखल देकर अपनी इच्छानुसार अधिकारियों की नियुक्ति की है।
राहुल ने ‘हैशटैग बाई बाई यूपीएसी’ के साथ ट्वीट किया, “जागो छात्रों, आपका भविष्य खतरे में है! आरएसएस वह चाहता है जो आप में से उसे ठीक लगता है।
पत्र से यह खुलासा होता है कि प्रधानमंत्री अब परीक्षा की रैंकिंग के आधार पर नहीं, बल्कि व्यक्तिपरक मानदंडों के आधार पर मेरिट सूची में हेरफेर कर केंद्रीय सेवा में आरएसएस की पसंद के अधिकारी को नियुक्त करना चाहते हैं।”
कार्मिक व प्रशिक्षण विभाग ने इस संबंध में प्रधानमंत्री कार्यालय के प्रस्ताव को लेकर सभी कैडर- कंट्रोलिंग मंत्रालयों को पत्र लिखकर सुझाव मांगा था कि क्या चयनित सदस्यों के सेवा और कैडर का आवंटन सिविल सेवा में प्राप्त अंक के आधार के बदले तीन माह के फाउंडेशन कोर्स के प्रदर्शन के आधार पर किया जा सकता है।
–आईएएनएस