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“संगीत जगत को बड़ा झटका: ‘या अली’ गाने से मशहूर हुए जुबीन गर्ग का निधन”

“सिंगापुर में हादसा, दुनिया ने खो दी अपनी मधुर आवाज़-‘या अली’ सिंगर जुबीन गर्ग का निधन”

 

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 बॉलीवुड में “या अली..”(#Gangster) से प्रसिद्द हुए मशहूर सिंगर जुबीन गर्ग का निधन हो गया l 

 जुबीन गर्ग सिंगापुर गए थे, जहाँ वे नॉर्थ ईस्ट फेस्टिवल में परफ़ॉर्म करने वाले थे। इसी दौरान वे स्कूबा डाइविंग के लिए गए और हादसे का शिकार हो गए। तुरंत उन्हें अस्पताल ले जाया गया लेकिन डॉक्टर उन्हें बचा नहीं सके।

उनकी मृत्यु की खबर सामने आते ही पूरे असम और देशभर में शोक की लहर दौड़ गई। प्रधानमंत्री मोदी ने उनके निधन पर गहरा दुःख जताया l 

असम के मुख्यमंत्री ने उनके निधन पर गहरा दुख जताया और कहा कि असम ने अपनी आवाज़ खो दी है।

जुबीन गर्ग: एक संपूर्ण जीवनी

परिचय

भारतीय संगीत जगत में कई ऐसे कलाकार हुए हैं, जिन्होंने अपनी आवाज़ और संगीत से लाखों दिलों पर राज किया। उन्हीं में से एक नाम है जुबीन गर्ग। असम के छोटे से शहर से निकलकर देशभर में अपनी आवाज़ का जादू फैलाने वाले इस गायक, संगीतकार और गीतकार ने अपने करियर में असंख्य हिट गाने दिए। बॉलीवुड, असमिया, बंगाली, ओड़िया, मराठी, मलयालम और कई अन्य भाषाओं में गाना गाने वाले जुबीन गर्ग सिर्फ एक गायक नहीं बल्कि एक संपूर्ण कलाकार थे।

19 सितंबर 2025 को सिंगापुर में स्कूबा डाइविंग हादसे में उनके निधन की खबर ने पूरे देश और दुनिया को झकझोर दिया। 52 साल की उम्र में उनका जाना असम ही नहीं, बल्कि पूरे भारत के संगीत प्रेमियों के लिए एक गहरा धक्का है।


शुरुआती जीवन और परिवार

जुबीन गर्ग का जन्म 18 नवंबर 1972 को मेघालय के तुरा शहर में हुआ था। उनके पिता मोनीनी मोहन बर्थाकुर असम सरकार में मैजिस्ट्रेट थे और साथ ही कवि व गीतकार भी थे। उनकी माँ इली बर्थाकुर एक गायक थीं। घर में संगीत का माहौल पहले से मौजूद था, इसलिए बचपन से ही जुबीन का झुकाव संगीत की ओर हो गया।

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तीन साल की उम्र से उन्होंने गाना शुरू कर दिया था। बाद में उन्होंने तबला, हारमोनियम, कीबोर्ड और गिटार बजाना सीखा। उनके संगीत गुरु रॉबिन बैंर्जी और रामनी राय रहे।

उनकी एक बहन जोंगी बर्थाकुर भी गायिका और अभिनेत्री थीं, लेकिन 2002 में सड़क हादसे में उनका निधन हो गया। बहन की मौत ने जुबीन को गहराई से प्रभावित किया और उन्होंने उनकी याद में एक एल्बम भी रिलीज़ किया।


शिक्षा

जुबीन ने अपनी प्रारंभिक शिक्षा असम में प्राप्त की। उन्होंने विज्ञान विषय से ग्रेजुएशन की पढ़ाई शुरू की, लेकिन संगीत के प्रति बढ़ते जुनून की वजह से उन्होंने पढ़ाई अधूरी छोड़ दी और पूरे मन से संगीत में करियर बनाने का फैसला किया।


करियर की शुरुआत

संगीत में उनका पहला बड़ा कदम 1992 में आया, जब उन्होंने असम में हुए एक यूथ फेस्टिवल में वेस्टर्न सोलो परफ़ॉर्मेंस में गोल्ड मेडल जीता। उसी साल उन्होंने अपना पहला एल्बम “अनामिका” रिलीज़ किया, जिसे लोगों ने बेहद पसंद किया। यहीं से उनका असमिया संगीत जगत में नाम होने लगा।

असमिया एल्बमों की सफलता के बाद उन्होंने हिंदी और अन्य भाषाओं की ओर रुख किया। धीरे-धीरे वे बॉलीवुड तक पहुँच गए और अपनी पहचान बनाने लगे।


बॉलीवुड करियर

बॉलीवुड में जुबीन गर्ग का सफर बेहद खास रहा। 2006 में रिलीज़ हुई फिल्म “गैंगस्टर” का गाना “या अली” उनकी पहचान बन गया। यह गाना सुपरहिट साबित हुआ और आज भी लोगों की प्लेलिस्ट में शामिल है। इस गाने ने उन्हें पूरे भारत में लोकप्रिय बना दिया।

इसके बाद उन्होंने कई फिल्मों के लिए गाने गाए, जिनमें रोमांटिक, सूफ़ी, पॉप और मेलोडी सभी शैलियाँ शामिल थीं। उनकी आवाज़ में एक अनोखी कशिश थी, जो श्रोताओं के दिलों को छू जाती थी।


असमिया और अन्य भाषाओं में योगदान

हालाँकि जुबीन गर्ग को बॉलीवुड ने बड़ी पहचान दी, लेकिन उनकी असली जड़ें असमिया संगीत में थीं। उन्होंने असमिया में सैकड़ों गाने गाए और वहां के सबसे लोकप्रिय कलाकारों में शुमार हुए।

उन्होंने बंगाली, मराठी, ओड़िया, नेपाली, तमिल, तेलुगु, मलयालम और अंग्रेजी में भी गाने गाए। लगभग 40 भाषाओं और उपभाषाओं में गाना गाना अपने आप में एक अनूठी उपलब्धि है।


संगीत शैली और प्रतिभा

जुबीन गर्ग सिर्फ गायक ही नहीं बल्कि संगीतकार, गीतकार और अभिनेता भी थे।

  • वे खुद गाने लिखते और संगीतबद्ध करते थे।
  • तबला, गिटार, कीबोर्ड और हारमोनियम बजाने में निपुण थे।
  • उन्होंने सूफ़ी, पॉप, रॉक, क्लासिकल और फोक सभी शैलियों को अपनी आवाज़ में ढाला।

उनकी बहुमुखी प्रतिभा ने उन्हें भारत के सबसे विविधतापूर्ण कलाकारों में शामिल किया।

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एल्बम और हिट गाने

जुबीन ने अपने करियर में सैकड़ों एल्बम दिए। कुछ प्रमुख असमिया और हिंदी एल्बम इस प्रकार हैं:

  • अनामिका (1992)
  • चाँदनी रात
  • माया
  • गैंगस्टर का “या अली”
  • असमिया एल्बमों की पूरी श्रृंखला जिनमें रोमांटिक, भक्तिमय और लोकगीत शामिल रहे।

पुरस्कार और सम्मान

अपने लंबे करियर में जुबीन गर्ग को कई पुरस्कार और सम्मान मिले।

  • असमिया संगीत जगत में उन्हें कई बार “बेस्ट सिंगर” अवार्ड मिला।
  • बॉलीवुड में “या अली” के लिए उन्हें विशेष पहचान और सम्मान प्राप्त हुआ।
  • वे उत्तर-पूर्व भारत की सांस्कृतिक धरोहर माने जाते हैं।

सामाजिक और सांस्कृतिक योगदान

जुबीन गर्ग केवल गायक ही नहीं थे बल्कि सामाजिक कार्यों में भी सक्रिय थे।

  • असम में बाढ़ पीड़ितों की मदद के लिए उन्होंने कई चैरिटी शो किए।
  • असमिया संस्कृति और भाषा को बढ़ावा देने के लिए उन्होंने विशेष रूप से काम किया।
  • उन्होंने युवाओं को नशे से दूर रहने और कला-संस्कृति को अपनाने की प्रेरणा दी।

व्यक्तिगत जीवन

जुबीन गर्ग का विवाह गर्सोंटी (Garsoni) नामक कलाकार से हुआ था। उनका पारिवारिक जीवन सरल और सादगीपूर्ण रहा। उन्हें यात्रा करना, नए वाद्ययंत्र सीखना और खेलों का शौक था।


विवाद

उनका करियर जितना सफल रहा, उतना ही कभी-कभी विवादों में भी रहा।

  • एक बार वे एक नाबालिग को थप्पड़ मारने के मामले में सुर्खियों में आए थे।
  • राजनीतिक मुद्दों पर खुलकर अपनी राय रखने के कारण भी वे विवादों में रहे।

जुबीन गर्ग की विरासत

आज जुबीन गर्ग भले ही हमारे बीच नहीं हैं, लेकिन उनकी आवाज़, उनका संगीत और उनकी स्मृतियाँ हमेशा जीवित रहेंगी।

  • उन्होंने असमिया संगीत को राष्ट्रीय स्तर पर पहचान दिलाई।
  • उनकी बहुमुखी प्रतिभा ने उन्हें एक “कलाकारों का कलाकार” बना दिया।
  • उनका गाना “या अली” और असमिया लोकगीत हमेशा उनकी याद दिलाते रहेंगे।

निष्कर्ष

जुबीन गर्ग सिर्फ एक गायक नहीं, बल्कि एक आंदोलन थे। उन्होंने दिखाया कि संगीत की कोई भाषा नहीं होती। चाहे असमिया हो, हिंदी हो या कोई अन्य भाषा—जुबीन गर्ग की आवाज़ हर दिल तक पहुँची। उनका जीवन संघर्ष, कला और समर्पण का अद्भुत संगम था।

52 साल की उम्र में उनका जाना भारतीय संगीत के लिए एक अपूरणीय क्षति है। आने वाली पीढ़ियाँ उनके गीतों से प्रेरणा लेती रहेंगी और वे हमेशा संगीत प्रेमियों की यादों में जिंदा रहेंगे।

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Sonal

सोनल कोठारी एक उभरती हुई जुझारू लेखिका है l विभिन्न विषयों पर अपनी कलम की लेखनी से पाठकों को सटीक जानकारी देना उनका उद्देश्य है l समयधारा के साथ सोनल कोठारी ने अपना लेखन सफ़र शुरू किया है l विभिन्न मीडिया हाउस के साथ सोनल कोठारी का वर्क एक्सपीरियंस 5 साल से ज्यादा का है l

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