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📰 उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने स्वास्थ्य कारणों से दिया इस्तीफा: संसद में उठे कई सवाल

सोमवार को भारत के 14वें उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने अचानक अपने पद से इस्तीफा दे दिया, उन्होंने स्वास्थ्य कारणों और चिकित्सीय सलाह का हवाला देते हुए राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू को एक औपचारिक पत्र भेजा.

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📰 उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने स्वास्थ्य कारणों से दिया इस्तीफा: संसद में उठे कई सवाल


🔔 1. जगदीप धनखड़ का तत्काल प्रभाव से इस्तीफा

नई दिल्लीः सोमवार को भारत के 14वें उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने अचानक अपने पद से इस्तीफा दे दिया। उन्होंने स्वास्थ्य कारणों और चिकित्सीय सलाह का हवाला देते हुए राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू को एक औपचारिक पत्र भेजा।
— उन्होंने स्पष्ट लिखा:

“स्वास्थ्य सेवा को प्राथमिकता देने एवं चिकित्सीय सलाह का पालन के लिए, मैं उपराष्ट्रपति के पद से तत्काल प्रभाव से इस्तीफा देता हूं – संविधान के अनुच्छेद 67(a) के अनुसार।”


⚖️ 2. संविधान: अनुच्छेद 67(a) क्या कहता है?

  • यह प्रावधान उपराष्ट्रपति को राष्ट्रपति को लिखित पत्र भेज कर कभी भी इस्तीफा देने की अनुमति देता है।
  • इसके तुरंत प्रभाव से इस्तीफा स्वीकार माना जाता है।
  • बिना किसी प्रोसेस के, राष्ट्रपति को सरकारी तौर पर इसकी जानकारी देना आवश्यक होता है।
  • जगदीप धनखड़ ने भी संविधान का यही नियम अपनाया।

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👥 3. धनखड़ का राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री और संसद के प्रति भावुक धन्यवाद

  • उन्होंने राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू के प्रति उनके “अटूट समर्थन” और “उत्कृष्ट संबंधों” के लिए आभार जताया।
  • प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मंत्रिपरिषद ने उन्हें सहयोग दिया, जिसका उन्होंने विशेष उल्लेख किया।
  • धनखड़ ने सांसदों सहित-जिन्होंने प्रेम और सम्मान दिया–उनका शुक्रिया भी अदा किया।

📚 4. उपराष्ट्रपति पद से उन्हें क्या सीख मिली?

  • उन्होंने इस पद को “एक जीवंत लोकतंत्र की सेवा” करार दिया।
  • देश की आर्थिक प्रगति और वैश्विक रूतबे में वृद्धि को अपने कार्यकाल का गौरव बताया।
  • इसे सबके साथ साझा करना “सच्चा सम्मान” और “गहरा विश्वास” बताया।

💸 5. उपराष्ट्रपति की सैलरी और भत्ते – वर्तमान आंकड़े

धनखड़ के इस्तीफे के बाद सवाल उठा – उपराष्ट्रपति को कितना वेतन मिलता था? यह वेतन राज्यसभा सभापति के पदेन अधिकार के तहत मिलता है।

  • वेतन: ₹4 लाख मासिक
  • पूर्व वेतन (2018 से पहले): ₹1.25 लाख
  • अन्य लाभ: लाभार्थी रूप से भत्ता—HRA, टीए, घरेलू स्टाफ, सरकारी आवास, वीआईपी वाहन आदि
  • यह वेतन ‘संसद अधिकारी के वेतन और भत्ते अधिनियम, 1953’ के अंतर्गत आता है।

🧩 6. इस्तीफे के बाद उठे राजनीतिक और प्रशासनिक सवाल

  1. अगला उपराष्ट्रपति कौन? – उपराष्ट्रपति के पद के आम चुनाव की प्रक्रिया इस इस्तीफे के बाद तेज होगी।
  2. स्वास्थ्य की गंभीरता? – इस्तीफे की वजह पर कयास लग रहे हैं, पर कोई आधिकारिक जानकारी नहीं आई।
  3. राजनीतिक अंतर्दृष्टि: – क्या इसमें किसी राजनीतिक रणनीति या दबाव की भूमिका है? विशेषज्ञों की राय लिए जा रहे हैं।

🗣️ 7. विश्लेषण: इस्तीफा क्यों और क्या संकेत देता है?

  • अगर इस्तीफा स्वास्थ्य संबंधी है, तो यह संवैधानिक प्रक्रिया के अनुसार लिया गया उचित फैसला है।
  • हालाँकि, समय की अचानक प्रकृति ने राजनीतिक चर्चाओं और संभावित परिकल्पनाओं को हवा दी है।
  • इसे स्व-देखभाल और लोकतांत्रिक जिम्मेदारी की मिसाल भी कहा जा सकता है।

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🔮 8. कुल मिलाकर क्या कहता है ये कदम?

पहलूनिष्कर्ष
स्वास्थ्य / व्यक्तिगत प्राथमिकतासंवैधानिक अधिकारों का सम्मान
वैधानिक प्रक्रियाअनुच्छेद 67(a) का सही उपयोग
राजनीतिक परिदृश्यनए चुनाव की संभावना, सवाल बढ़े
लोकतांत्रिक संदेशपब्लिक फिगर भी स्वयं देखभाल और जवाबदेही निभाता है

📝 निष्कर्ष

उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ का स्वास्थ्य संबंधी इस्तीफा ना केवल संवैधानिक प्रक्रिया का उदाहरण है, बल्कि यह एक लोकतांत्रिक सिद्धांत—स्व-देखभाल और जवाबदेही का प्रतीक भी है। अब देश की नज़रें हैं अगले चुनाव, नए नेतृत्व और लोकतंत्र की भविष्यवाणी पर।

 

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