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Monkeypox-alert-sends-by-Indian-govt-to-all-international-entry-points-NCDC-ICMR
देश और दुनिया अभी तक कोरोनावायरस(Coronavirus)से उबर भी नहीं पाई है।ऐसे में एक और वायरस तेजी से विदेशों में फैल रहा है। इसका नाम है मंकीपॉक्स(Monkeypox)
यूरोप में मंकीपॉक्स के मामले 100 को पार कर गए है। इसे लेकर विश्व स्वास्थ्य संगठन(WHO) ने भी एक आपात बैठक बुलाई है।
मंकीपॉक्स ब्रिटेन में भी तेजी से फैल रहा रेयर वायरस है,जिसके मरीजों की संख्या अब बढ़कर 20 हो गई है।
मंकीपॉक्स के मामले जिस खतरनाक तेजी से विदेशो में बढ़ रहे है। उसी को देखते हुए केंद्र सरकार भी सतर्क हो गई है और उसने शुक्रवार को सभी इंटरनेशनल एंट्री प्वाइंट्स जैसेकि एयरपोर्ट,बंदरगाहों को लेकर अलर्ट जारी कर दिया(Monkeypox-alert-sends-by-Indian-govt-to-all-international-entry-points-NCDC-ICMR) है।
दक्षिण अफ्रीका की यात्रा कर भारत पहुंचने वाले यात्रियों की सैंपल को जांच के लिए पुणे में स्थित नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ वायरोलॉजी (एनआईवी) भेजे(Monkeypox suspected samples sends to NIV pune)जाएंगे।
Monkeypox situation | "Send samples (to NIV Pune) only in such cases where people display certain specific symptoms. Not samples of sick passengers," Senior official to ANI
— ANI (@ANI) May 20, 2022
समाचार एजेंसी एएनआई ने एक अधिकारी के हवाले से लिखा, ‘सैंपल (एनआईवी, पुणे को) केवल ऐसे मामलों में भेजें जहां लोगों में कुछ खास लक्षण दिखें। बीमार यात्रियों के नमूने नहीं भेजे जाएंगे।’
Centre alerts NCDC, ICMR on monkeypox: Sources
Read @ANI Story | https://t.co/hpYT6kev6W#monkeypox #ICMR pic.twitter.com/57vnYBEncE
— ANI Digital (@ani_digital) May 20, 2022
इनपुट्स के अनुसार, केंद्र ने नेशनल सेंटर फॉर डिजीज कंट्रोल (NCDC) और इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च (ICMR) को यूरोप और अन्य जगहों पर मिल रहे मंकीपॉक्स के मामलों पर कड़ी नजर रखने के लिए कहा(Monkeypox-alert-sends-by-Indian-govt-to-all-international-entry-points-NCDC-ICMR) है।
अफ्रीका तक सीमित वायरस जनित बीमारी मंकीपॉक्स अब यूरोप मे कहर बरपा रही है और स्पेन ने जहां गुरुवार को सात मामलों की पुष्टि की, वहीं पुर्तगाल में इन मामलों की संख्या बढ़कर 14 हो गई।
स्पेन में अब तक जितने भी मामले सामने आये हैं, वे सब राजधानी मेड्रिड से हैं और सभी संक्रमित पुरूष हैं।
मंकीपॉक्स का संक्रमण बेहद करीबी संपर्क वाले व्यक्ति से दूसरे व्यक्ति में फैल सकता है। साथ ही ऐसे व्यक्ति द्वारा इस्तेमाल कपड़े या चादरों का उपयोग करने से संक्रमण फैल सकता है जोकि मंकीपॉक्स की चपेट में है।
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क्या मंकीपॉक्स है?-What is Monkeypox
मंकीपॉक्स मानव चेचक के समान एक दुर्लभ वायरल संक्रमण है। यह पहली बार 1958 में शोध के लिए रखे गए बंदरों में पाया गया था।
मंकीपॉक्स से संक्रमण का पहला मामला 1970 में दर्ज किया गया था। यह रोग मुख्य रूप से मध्य और पश्चिम अफ्रीका के कुछ क्षेत्रों में होता है और कभी-कभी बाकी क्षेत्रों में पहुंच जाता है।
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बीमारी के लक्षण-Monkeypox symptoms
विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) के अनुसार, मंकीपॉक्स आमतौर पर बुखार, दाने और गांठ के जरिए उभरता है और इससे कई प्रकार की चिकित्सा जटिलताएं पैदा हो सकती हैं।
रोग के लक्षण आमतौर पर दो से चार सप्ताह तक दिखते हैं, जो अपने आप दूर होते चले जाते हैं। मामले गंभीर भी हो सकते हैं।
हाल के समय में, मृत्यु दर का अनुपात लगभग 3-6 प्रतिशत रहा है, लेकिन यह 10 प्रतिशत तक हो सकता है। संक्रमण के वर्तमान प्रसार के दौरान मौत का कोई मामला सामने नहीं आया है।
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